सफलता पाने के लिए क्या है जरूरी, जानें यहां!
धर्म के साथ हर किसी के जीवन में सफलता अहम होती है। बल्कि कहा जाता है इसे पाने के लिए ही लोग अपने जीवन में कड़ी मेहनत करते हैं। इतना ही नहीं बल्कि लोग अपनी तरफ से हर तरह का संभव प्रयास करते हैं जिससे वो अपने जीवन में सफलता...
Published on 15/09/2021 6:45 AM
अपने पद का दुरुपयोग करना सही नहीं
धर्म के साथ घटना उस समय की है जब शास्त्री जी गृहमंत्री थे। यह तो सब जानते हैं कि शास्त्री जी बहुत सादगी पसंद और मितव्ययी थे। वह अपने और परिवार के ऊपर एक भी पैसा अनावश्यक नहीं खर्च करते थे। नियमों का कड़ाई से पालन करना उनकी आदत थी।एक...
Published on 15/09/2021 6:30 AM
सम्मान देने से सम्मान बढ़ता है
धर्म के साथ सम्राट अशोक एक बार अपने मंत्रियों के साथ कहीं जा रहे थे, तभी रास्ते में उनको एक भिखारी दिखाई दिया। सम्राट अपने रथ से नीचे उतरे और उस भिखारी के पास जाकर अपने सिर को बड़ी ही नम्रता के साथ उसके सामने झुकाया और फिर आगे बढ़...
Published on 15/09/2021 6:15 AM
महर्षि वेदव्यास के कहने पर गणेशजी ने सरल भाषा में लिखी थी महाभारत
गणपति जी सिर्फ रिद्धि-सिद्धि के दाता ही नहीं बल्कि लेखन कला के देव भी हैं। इसलिए अगर आप लेखन कौशल में आगे बढ़ना चाहते हैं तो गणेश जी की पूजा करनी चाहिए। भगवान गणपति ने ही पौराणिक कथाओं को लोगों तक पहुंचाने के लिए महर्षि वेदव्यास के कहने पर महाभारत...
Published on 14/09/2021 10:01 AM
अगर हमारे पास धन नहीं है तो दूसरों को प्रसन्नता तो बांट ही सकते हैं
कहानी - श्रीराम, लक्ष्मण और सीता का वनवास चल रहा था। वे जंगल-जंगल घूम रहे थे। कई विषयों पर लक्ष्मण और सीता जी के साथ श्रीराम बातें करते थे। वन में जहां कहीं भी ऋषियों के आश्रम दिखते थे, वहां ये तीनों चले जाते थे।एक बार साधु-संतों से बातचीत कर...
Published on 11/09/2021 12:25 PM
अधर्म से कमाया गया भोजन
कहानी - महाभारत का युद्ध चल रहा था। 9 दिन बीत चुके थे। दुर्योधन ने भीष्म पितामह से शिकायत करते हुए कहा, 'आप ठीक से युद्ध नहीं कर रहे हैं। हमारे पक्ष के कई राजा मारे गए हैं। मेरे कई भाई मारे जा चुके हैं, लेकिन अब तक एक भी...
Published on 09/09/2021 2:22 PM
अश्वमेध यज्ञ का फल देने वाले इस व्रत से राजा हरिशचंद्र को वापस मिला था अपना राज्य
भाद्रपद महीने में श्रीकृष्ण जन्माष्टमी के दो दिन बाद आने वाले इस व्रत को अजा एकादशी भी कहा जाता हैभाद्रपद महीने के कृष्णपक्ष की एकादशी को जया एकादशी कहते हैं। कहीं-कहीं इसे अजा एकादशी के नाम से भी जाना जाता है। ये श्रीकृष्ण जन्माष्टमी के दो दिन बाद पड़ती है।...
Published on 01/09/2021 5:33 PM
जीवन के चार आधार
सुसंस्कारिता के चार आधार हैं- समझदारी, ईमानदारी, जिम्मेदारी और बहादुरी। इन्हें आध्यात्मिक-आंतरिक वरिष्ठता की दृष्टि में उतना ही महत्वपूर्ण माना जाना चाहिए जितना शरीर के लिए अन्न, जल, वस्त्र और निवास अनिवार्य समझा जाता है। समझदारी का अर्थ है- दूरदर्शी विवेकशीलता अपनाना। आमतौर से लोग तात्कालिक लाभ को सब कुछ...
Published on 12/08/2021 6:00 AM
भोलेनाथ को जहरीला धतूरा चढ़ाने का मतलब ये कि अपने मन की कड़वाहट और जहर भी त्याग दें
भगवान शिव का श्रंगार बहुत ही रहस्यमयी और सबसे अलग है। उसमें नाग, भस्म, जहरीले और जंगली फूल और पत्ते शामिल हैं। ऐसा श्रंगार बताता हैं कि भगवान शिव उन सभी को भी अपनाते हैं। जिसे लोगों ने अपने से दूर कर रखा हो। यानी जो चीजें किसी काम की...
Published on 10/08/2021 5:03 PM
हमारे लिए बोली गईं बुरी बातों पर ध्यान देंगे तो हमारे निर्णयों पर गलत असर हो सकता है
कहानी - बालक ध्रुव तप करने के लिए जंगल में जा रहे थे। उनकी मां सुनीति ने उनसे कहा था, 'तुम्हारी सौतेली मां सुरुचि ने तुम्हें पिता की गोद में बैठने से रोका तो तुम्हारा मन व्यथित होना ठीक है। भगवान को प्राप्त करो तो पिता की गोद में चढ़...
Published on 09/08/2021 6:19 PM