नई दिल्ली : मॉनसून मंगलवार को कर्नाटक, गोवा, कोंकण और महाराष्ट्र के तटीय इलाकों में दस्तक देने जा रहा है। अच्छी बात यह है कि अरब सागर में उठे चक्रवाती तूफान 'अशोबा' से इसे ताकत मिल रही है। अरब सागर और बंगाल की खाड़ी के मॉनसून का असर दिल्ली सहित उत्तर भारत के इलाकों पर पड़ता है। सामान्य हालात में दिल्ली में 29 जून को मॉनसून सक्रिय होता है, लेकिन इस बार केरल में एक सप्ताह देर से मॉनसून ने दस्तक दी। बंगाल की खाड़ी में इसने 21 मई को ही दस्तक दी थी, लेकिन श्रीलंका के दक्षिणी हिस्से तक पहुंचते-पहुंचते वह ठहर गया। मौसम विशेषज्ञों का अनुमान है कि जुलाई के फर्स्ट वीक तक दिल्ली में मॉनसून सक्रिय हो सकता है।

अरब सागर में 'गहरा दबाव क्षेत्र'

अरब सागर में 'गहरा दबाव क्षेत्र' बनने से उठ रहे अशोबा चक्रवात के कारण देश के पश्चिमी तटीय राज्यों महाराष्ट्र, गोवा और गुजरात में भारी बारिश के आसार हैं। कर्नाटक, गोवा और महाराष्ट्र में मछुआरों को अगले 48 घंटों के दैारान समुद्र में नहीं जाने की चेतावनी दी गई है और जो गए हुए हैं, उन्हें लौट आने को कहा गया है। मौसम विभाग (आईएमडी) के मुताबिक, अरब सागर में बन रहे दबाव के चलते समुद्री चक्रवात 80 किमी/घंटा की रफ्तार से उत्तर-पश्चिम की ओर बढ़ रहा है। इसके बाद सघन होकर अगले 24 घंटे में गहरे दबाव में तब्दील हो जाएगा। इस दौरान महाराष्ट्र, कोंकण और गोवा के तटों पर समुद्र में उथल-पुथल की स्थिति रहेगी।

नमी मिली तो असर होगा ज्यादा

आईएमडी के उपनिदेशक कृष्णानंद होसालीकर ने कहा कि हम दबाव की प्रगति पर नजर रख रहे हैं। यह कहना मुश्किल है कि इससे मॉनसून की प्रगति प्रभावित होगी या नहीं। कभी-कभी ऐसे पैटर्न से मॉनसूनी हवाओं को ज्यादा नमी मिलती है और प्रगति में मदद मिलती है।

आगे क्या होगा

- 24 घंटे में कर्नाटक, गोवा और महाराष्ट्र के तट पर 70-80 किमी प्रति घंटे और बाद में 90-100 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से तूफान आने के आसार

- अगले 48 घंटे में कर्नाटक, गोवा, कोंकण और महाराष्ट्र के तटों पर ऊंची लहरें उठ सकती हैं और आसपास के इलाकों में जोरदार बारिश होगी।

'चुनौती' को 'अवसर' में बदलें : पीएम

मौसम विभाग के इस साल कमजोर मॉनसून के अनुमान को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अधिकारियों से बारिश की 'चुनौती को एक अवसर के रूप में लेने को कहा।'