नई दिल्ली: पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव बढ़ता जा रहा है। भारत द्वारा सिंधु जल संधि रद्द करने और कई अन्य प्रतिबंध लगाने के बाद अब दोनों देश युद्ध की कगार पर खड़े हैं। संभावनाओं को देखते हुए भारत ने युद्ध की तैयारियां तेज कर दी हैं और नागरिकों की सुरक्षा को लेकर भी बड़ा कदम उठाया है। इसी क्रम में केंद्रीय गृह मंत्रालय ने कल 7 मई को सिविल डिफेंस मॉक ड्रिल आयोजित करने के निर्देश दिए हैं। कल देश के सभी राज्यों में युद्ध सायरन बजाए जाएंगे। गृह मंत्रालय के आदेश के बाद राज्यों ने मॉक ड्रिल की तैयारी शुरू कर दी है। आदेश के मुताबिक 7 मई को देश में कई जगहों पर मॉक ड्रिल की जाएगी। इसका मकसद सिविल डिफेंस की तैयारी को परखना और उसे बेहतर बनाना है। मॉक ड्रिल में जिला अधिकारी, सिविल डिफेंस वार्डन, होमगार्ड, एनसीसी, एनएसएस, एनवाईकेएस, कॉलेज और स्कूली छात्र भी हिस्सा लेंगे। सरकार का कहना है कि विभिन्न एजेंसियों की तैयारियों और आपसी समन्वय को परखने के लिए यह मॉक ड्रिल जरूरी है। 

इन जगहों पर बजेगा युद्ध सायरन

पाकिस्तान की सीमा से सटे राज्य गुजरात के 18 स्थानों पर युद्ध सायरन के साथ मॉक ड्रिल करने के निर्देश जारी किए गए हैं। सरकार ने सायरन बजाने के लिए राज्य के इन सभी शहरों को तीन श्रेणियों में रखा है। पहली श्रेणी में तीन स्थानों- सूरत, वडोदरा और काकरापार को रखा गया है। सूरत और वडोदरा को व्यापार के लिए राज्य का बड़ा शहर माना जाता है। जबकि, काकरापार में परमाणु ऊर्जा संयंत्र है, जिसके कारण इसे अति संवेदनशील क्षेत्र में शामिल किया गया है।

दूसरी श्रेणी में गुजरात के 9 स्थान- अहमदाबाद, जामनगर, गांधीनगर, भावनगर, कांडला, नलिया, अंकलेश्वर, ओखा और वडिनार को शामिल किया गया है। जबकि, तीसरी श्रेणी में भरूच, डांग, कच्छ, महेसाणा, नर्मदा और नवसारी को रखा गया है। गृह मंत्रालय के आदेश पर राज्य सरकार ने मॉक ड्रिल की तैयारियां कर ली हैं।

युद्ध सायरन बजेंगे, नागरिकों को दी जाएगी ट्रेनिंग

गृह मंत्रालय की ओर से राज्यों को भेजे गए पत्र में कहा गया है कि मॉक ड्रिल के दौरान हवाई हमले के सायरन, आम जनता को नागरिक सुरक्षा का प्रशिक्षण, ब्लैकआउट उपाय, महत्वपूर्ण स्थानों की छलावरण और निकासी योजना का अभ्यास किया जाएगा। मंत्रालय ने कहा कि मौजूदा हालात में देश कई नए और जटिल खतरों का सामना कर रहा है, इसलिए राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को हर वक्त पूरी तरह तैयार रहना चाहिए।

देश में 54 साल बाद होने जा रही मॉक ड्रिल

पहलगाम हमले के बाद भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ अब तक कई कूटनीतिक कदम उठाए हैं, जिसमें 1960 की सिंधु जल संधि को निलंबित करना बहुत बड़ा कदम है, यह ऐसा कदम है जो भारत ने 1965, 1971 और 1999 के कारगिल संघर्ष के दौरान भी नहीं उठाया था। भारत के इस कदम के बाद पाकिस्तान भड़क गया है, पाकिस्तान ने कहा है कि पानी रोकना युद्ध की कार्रवाई मानी जाएगी।