हमीदिया से मिसरोद जाने के मांगे 9 हजार रूपये, आखिर लोडिंग आॅटो से शव ले गये परिजन

भोपाल के हमीदिया व अन्य सरकारी अस्पतालों में एम्बुलेन्स और शव वाहन संचालाकों की मन मानी जारी है। राधेश्याम अहिरवार के पिता हमीदिया अस्पताल के डी-ब्लाॅक में भर्ती थे। उनका निधनहोने के बाद राधेश्याम ने पिता का शव मिसरोद तक ले जाने के लिये शव वाहन वाले से बात की, तो उसने 9 हजार रूपये मांगे, राधेश्याम ने राशि कम करने की बात की, तो शव वाहन वाले ने खुद मना कर अन्य संचालकों को भी शव ले जाने से मना कर दिया। विवाद की स्थिति बन गई। अंततः राधेश्याम परिचिन के लोडिंग आॅटो में शव ले गये। इस मामले में आयोग ने कमिश्नर, भोपाल संभाग एवं अधीक्षक, हमीदिया अस्पताल, भोपाल से जांच कराकर ट्रांस्पोर्ट एम्बुलेंस की दरें नियत कराने एवं अस्पताल परिसर में इनकी उपलब्धता नियत दर पर सुनिश्चित कराने की व्यवस्था कर प्रतिवेदन दस दिवस में मांगा है।