नई दिल्ली । कोरोना संकट में भी बैंकों की जमा में गिरावट नहीं आई है बल्कि यह करीब 11 फीसदी बढ़कर पहली बार 150 खरब रुपए के पार पहुंच पर पहुंच गई है। रिजर्व बैंक की ओर से जारी आंकड़ों के मुताबिक 26 मार्च 2021 तक भारतीय बैंकों की जमा 150.13 खरब रुपये रही। महज पांच साल में बैंकों की जमा में 50 फीसदी की वृद्धि हुई है। वर्ष 2016 में भारतीय बैंकों की कुल जमा 100 खरब रुपए थी। आंकड़ों के मुताबिक पिछले एक साल में भारतीय बैंकों की कुल जमा में 11.3 फीसदी का इजाफा हुआ है। वर्ष 2011 में भारतीय बैंकों की कुल जमा 50 खरब रुपये के स्तर पर पहुंची थी। रिजर्व बैंक की रिपोर्ट के मुताबिक कोरोना काल में बैंकों की जमा उनके कर्ज की रफ्तार के मुकाबले दोगुना तेजी से बढ़ी है। क्रेडिट रेटिंग एजेंसी केयर ने भी अपनी रिपोर्ट में कहा है कि इक्विटी फंड से लगातार निकासी हो रही है और बैंकों की जमा में इजाफा हो रहा है। निजी क्षेत्र के एचडीएफसी बैंक का जमा मार्च, 2021 के आ‎खिर तक 16 प्रतिशत बढ़कर 13.35 लाख करोड़ रुपए पर पहुंच गया। समीक्षाधीन अवधि में कर्ज करीब 14 प्रतिशत बढ़कर 11.32 लाख करोड़ रुपए पर पहुंच गया। सालाना आधार पर बैंक का घरेलू खुदरा ऋण 7.5 प्रतिशत बढ़ा है। वहीं इस दौरान थोक ऋण में 21 प्रतिशत का इजाफा हुआ है। 
बैंक ने कहा कि 31 मार्च, 2021 के आ‎खिरी तक उसकी जमा सालाना आधार पर 16.3 प्रतिशत बढ़कर 13.35 लाख करोड़ रुपए पर पहुंच गई। बैंक की चालू खाता और बचत खाता जमा इस दौरान करीब 27 प्रतिशत बढ़कर 6.15 लाख करोड़ रुपए पर पहुंच गईं। 31 मार्च, 2021 के आ‎खिरी तक बैंक का कासा अनुपात 46 प्रतिशत था, जो एक साल पहले 42.2 प्रतिशत था। इसी तरह निजी क्षेत्र के फेडरल बैंक का कुल जमा 31 मार्च, 2021 के अंत तक 13 प्रतिशत बढ़कर 1,72,655 करोड़ रुपए पहुंच गया जो एक साल पहले 31 मार्च, 2020 को 1,52,290 करोड़ रुपए था। फेडरल बैंक द्वारा दिया गया सकल कर्ज 31 मार्च, 2021 को समाप्त वित्त वर्ष में 9 प्रतिशत बढ़कर 1,34,876 करोड़ रुपए पहुंच गया। इससे पूर्व मार्च, 2020 में यह 1,24,153 करोड़ रुपए था। फेडरल बैंक ने कहा कि आंकड़े अभी पक्के नहीं है और इसे बाजार नियामक सेबी के सूचीबद्धता बाध्यता और खुलासा आवश्यकता नियम और गतिविधियां तथा प्रक्रिया संहिता के तहत जारी किया गया है। चालू खाता और बचत खाता (कासा) जमा सालाना आधार पर 31 मार्च, 2021 को 26 प्रतिशत बढ़कर 58,381 करोड़ रुपए रही, जो 31 मार्च, 2020 को 46,450 करोड़ रुपए थी।