नागपुर। दुनिया की सबसे ऊंचे युद्ध क्षेत्र सियाचिन में 35 फीट मोटी बर्फ के नीचे से छह दिन बाद मिले शहीद हनुमनथप्पा कोप्पड़ की पत्नी ने कहा है कि वह अपनी बेटी को भी सेना में भेजेंगी। कई दिनों तक जिंदगी से जंग लड़ने के बाद बीते 11 फरवरी को शहीद हनुमनथप्पा की मौत हो गई थी।
एक कार्यक्रम में शामिल हुईं शहीद की पत्नी महादेवी ने देश के कई विश्वविद्यालयों में लग रहे राष्ट्रविरोधी नारों पर भी दुख व्यक्त किया। महादेवी ने कहा कि वे हाल ही में देश के कुछ विश्वविद्यालयों में देश को तोड़ने और आतंकियों के समर्थन में नारे लगने की वजह से काफी आहत हैं।
गुरुवार को आयोजित कार्यक्रम में महादेवी ने कहा, 'मैं बिलकुल भी दुखी नहीं हूं कि मेरे पास बेटा नहीं है बल्कि एक बेटी है। पति हनुमनथप्पा के शहीद होने के बाद मैं अपनी बेटी को भी भारतीय सेना में भेजूंगी। यही बेटी के पिता को सच्ची श्रद्धांजलि होगी।'
इस कार्यक्रम में शहीद हनुमनथप्पा के भाई शंकर गोवडा भी मौजूद थे। शहीद हनुमनथप्पा की पत्नी व बच्चों के लिए केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी की पत्नी कंचन गडकरी ने एक लाख का चेक भी सौंपा।
अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद और युवा जागरण मंच की ओर से आयोजित किए गए इस कार्यक्रम में बड़ी तादाद में लोगों ने हिस्सा लिया था। कार्यक्रम में शहीद हनुमनथप्पा को श्रद्धांजलि अर्पित की गई।
शहीद हनुमनथप्पा की पत्नी बोलीं, 'बेटी को भी भेजूंगी सेना में'
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