नई दिल्ली. गंगा की सफाई और संरक्षण से जुड़ी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी महत्वाकांक्षी योजना ‘नमामि गंगे’ को बुधवार को केंद्रीय मंत्रिमंडल ने मंजूरी दे दी। सरकार ने इसके लिए 20 हजार करोड़ रूपए का बजट आवंटित किया है।
 
द हिंदू के मुताबिक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में बुधवार को हुई कैबिनेट की बैठक में ‘नमामि गंगे’ कार्यक्रम को मंजूरी दी गई जिसके अंतर्गत समन्वित प्रयासों से गंगा नदी को व्यापक तरीके से स्वच्छ और संरक्षित किया जाएगा। इस कार्यक्रम के लिए पिछले तीन दशक में नदी की सफाई और संरक्षण पर जितना धन खर्च किया गया है, उसमें चार गुना बढ़ोतरी करते हुए 20,000 करोड़ रुपये के बजट को मंजूरी दी गई।
 
1986 में तत्कालीन प्रधानमंत्री राजीव गांधी ने 462 करोड़ रूपए की लागत वाले ‘गंगा एक्शन प्लान’ को मंजूरी दी थी, जिसका मुख्य उद्देश्य नदी का प्रदूषण रोकना और इसके पानी की गुणवत्ता को बेहतर बनाना था। हालांकि यह देश की सबसे प्रदूषित नदी है, जिसका प्रदूषण स्तर विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा ‘सुरक्षित’ बताए गए प्रदूषण के स्तर से तीन हजार गुना अधिक है।
इस योजना के कार्यान्वयन में एक बड़ा बदलाव किया गया है, जिसके अनुसार सरकार ने बेहतर और सतत परिणाम हासिल करने के लिए नदी के किनारों पर रहने वाले लोगों को इस परियोजना में शामिल करने पर जोर दिया है।
 
सरकार की तरफ से जारी विज्ञप्ति के अनुसार, ‘अतीत से सबक लेते हुए कार्यक्रम में राज्यों और शहरी स्थानीय निकायों और पंचायती राज संस्थानों जैसे शुरूआती स्तर के संस्थानों को इसके कार्यान्वयन में शामिल किया जाएगा।’ इसके अनुसार कार्यक्रम का कार्यान्वयन राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिशन और राज्यों में इससे संबद्ध संगठनों द्वारा किया जाएगा। इसके अलावा मिशन द्वारा जहां जरूरी होगा फील्ड कार्यालय स्थापित किए जाएंगे।