वाशिंगटन : पाकिस्तान की ओर झुकाव के लिए पहचानी जाने वाली पूर्व अमेरिकी राजनयिक रॉबिन राफेल को संघीय खुफिया जांच के दायरे में लाया गया है। मीडिया में आई खबरों के अनुसार, फेडरल ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेशन (एफबीआई) ने राफेल के आवास और विदेश मंत्रालय में उनके कार्यालय की तलाशी ली और उन्हें सील कर दिया।

छापेमारी के दौरान वह विदेश मंत्रालय में अफगानिस्तान एवं पाकिस्तान के लिए विशेष प्रतिनिधि कार्यालय में पाकिस्तान से जुड़े मामलों की सलाहकार के पद पर थीं। पिछले सप्ताह विदेश मंत्रालय के साथ उनका अनुबंध खत्म हो गया।

यह स्पष्ट नहीं है कि क्या जांच के निशाने पर वे खुद हैं। यह भी जानकारी नहीं है कि एजेंट ढूंढ क्या रहे हैं? विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता जेन साकी ने कहा, ‘हम कानून प्रवर्तन से जुड़े इस मामले से वाकिफ हैं। विदेश मंत्रालय हमारे कानून प्रवर्तन के सहकर्मियों को सहयोग कर रहा है।’ उन्होंने कहा, ‘राफेल अब मंत्रालय की सदस्य नहीं हैं।’

वर्ष 1993 में, उन्हें दक्षिण एवं मध्य एशियाई मामलों के लिए विदेश मंत्रालय में अमेरिका की पहली सहायक मंत्री के रूप में नियुक्त किया गया था। बाद में वे ट्यूनीशिया में अमेरिका की राजदूत भी बनीं। 2000 के दशक में उन्होंने दक्षिणी एशिया पर अपनी विशेषज्ञता से जुड़े कई आधिकारिक पद संभाले।