
रांची: विश्व हिंदू परिषद के केंद्रीय महामंत्री बजरंग बागड़ा ने कहा कि भारतवर्ष के हिंदुओं ने साढ़े सात सौ वर्ष तक इस्लामिक शासन और दो सौ वर्षों का ईसाई शासन को झेला, इसके बावजूद अपने अस्तित्व को बचा कर रखने में सफल रहा है। इसका मुख्य कारण कारण विवाह और कुटुम्ब प्रणाली रहा।
परंतु आज के मौजूदा दौर में हिंदुओं के कुटुंब और विवाह प्रणाली में हो रहे परिवर्तन के कारण हमारा अस्तित्व खतरे में है और यह हिंदू समाज के नाश का कारण बन सकता है। इसलिए समय इसे हर हाल में ठीक करना होगा।
दो दिवसीय प्रवास पर मंगलवार को रांची पहुंचने के बाद वे होटल ग्रीन एकर्स में विहिप से जुड़े अधिवक्ताओं और कार्यकर्ताओं को संबंधित कर रहे थे। उन्होंने हटिया में सामाजिक समरसता से जुड़े लोगों और मोरहाबादी में व्यापारियों के साथ भी बैठक की।
ऐसी जागृति हम हिंदुओं को अपने मूल जीवन बिंदु और जीवन दर्शन के क्षेत्र में भी खास तौर पर दिखाने की जरूरत है।
उन्होंने आगाह किया और कहा कि यदि हम अभी नहीं संभले, तो निकट कुछ वर्षों में हमारी जनसंख्या मुसलमानों से कम हो जाएगी। ऐसी स्थिति में हमारे वोट करने का प्रतिशत घटा, तो हम शासन प्रणाली में अपनी भागीदारी को गवां बैठेंगे और हमपर अत्याचार बढ़ जाएगा।
कार्यक्रम में विहिप के क्षेत्र मंत्री वीरेन्द्र विमल, झारखंड प्रांत मंत्री मिथिलेश्वर मिश्र, संयोजक रंगनाथ महतो, संगठन मंत्री देवी सिंह, विधि प्रकोष्ठ प्रांत प्रमुख और वरिष्ठ अधिवक्ता राजेंद्र कृष्णा, सेवानिवृत जज शिवपाल सिंह सहित झारखंड उच्च न्यायालय एवं सिविल कोर्ट रांची के अधिवक्ता ने इस बैठक में हिस्सा लिया।
सभी हिंदू सहोदर हैं
बिरसानगर हटिया में समरसता संगोष्ठी को संबंधित करते हुए बजरंग बागड़ा ने कहा कि हम सभी हिंदू भारत मां की संताने हैं इस नाते सहोदर हैं। कोई छोटा या बड़ा नहीं है।
उन्होंने सभी से आग्रह किया कि जातिगत भावना से ऊपर उठकर हम सभी हिंदू एक हैं। यह भाव अपने अंदर भरते हुए समरसतायुक्त समाज के निर्माण में सहभागी बनें। भेद भाव मुक्त संगठित हिंदू समाज ही राष्ट्र एवं धर्म की रक्षा में सहायक सिद्ध होगा।