भोपाल : ऊर्जा मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर ने बताया है कि केन्द्र सरकार की आर.डी.एस.एस. योजना में मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी कार्यक्षेत्र में अब स्मार्ट मीटर लगने जा रहे हैं। कंपनी द्वारा कुल 41 लाख 35 हजार 791 स्मार्ट मीटर स्थापना के कार्य स्वीकृत हुए हैं। इसके तहत कंपनी क्षेत्र में समस्त वितरण-ट्रांसफार्मरों (कृषि श्रेणी को छोडकर) एवं कृषि श्रेणी के अलावा समस्त उपभोक्ताओं के मीटर, स्मार्ट मीटरों से बदले जाने हैं।

स्मार्ट मीटर प्रोजेक्ट के पार्ट-1 में कुल 9 लाख 77 हजार 48 विद्युत-उपभोक्ताओं (जिसमें समस्त उच्चदाब उपभोक्ता, औद्योगिक उपभोक्ता एवं ब्लाक-स्तर व ऊपर के शासकीय कार्यालय सम्मिलित हैं), 9 हजार 477 विद्युत उपकेन्द्र, फीडरों एवं 1 लाख 55 हजार 515 वितरण ट्रांसफार्मरों पर स्मार्ट मीटर स्थापित किए जाने हैं। विद्युत उपभोक्ताओं के यहां स्मार्ट मीटर स्थापना का यह कार्य प्रमुख रूप से भोपाल, सीहोर, विदिशा, नर्मदापुरम, ग्वालियर, दतिया, भिण्ड, मुरैना, गुना एवं शिवपुरी जिलों में किया जाना है।

इस प्रोजेक्ट की शुरुआत भोपाल (शहर) वृत्त से की जा रही है, जहां पर कुल 2 लाख 08 हजार 128 स्मार्ट मीटर लगाए जाने हैं। एएमआईपीएस द्वारा 13 अक्टूबर 2024 तक कम से कम 57 हजार 102 स्मार्ट मीटर लगाए जाने हैं। इसके बाद हर माह कम से कम 54 हजार 247 स्मार्ट मीटर लगाकर 13 जून 2026 तक 11 लाख 42 हजार 40 स्मार्ट मीटर लगाये जाना है।

स्मार्ट मीटर प्रोजेक्ट के तहत सर्वप्रथम 11 के.व्ही. फीडर वार कंज्यूमर-इंडेक्सिगं कार्य किया जाएगा] जिसके तहत सर्वेक्षकों द्वारा प्रत्येक वितरण-ट्रांसफार्मर एवं उससे जुडे विद्युत कनेक्शनों का समस्त विवरण मोबाईल-एप पर एकत्र किया जाएगा। सर्वेक्षण के दौरान विद्युत-कनेक्शनों के जी.पी.एस. लोकेशन के साथ-साथ मीटर और सर्विस लाइन की वस्तुस्थिति भी मौके पर जांची जाएगी। उपभोक्ता प्रतिष्ठानों में मीटर स्थापना के लिए आश्यक होने पर सर्विस लाइन बदलने एवं मीटर शिफ्टिंग का कार्य भी किया जाएगा।

स्मार्ट मीटर के फायदे

सुरक्षा निधि से छूट एवं पहले से जमा सुरक्षा-राशि से पहला रिचार्ज।

मौजूदा टैरिफ के अनुसार घरेलू एवं गैर घरेलू (व्यावसायिक) बिल में 25 पैसे प्रति यूनिट की छूट तथा ऊर्जा-प्रभार से जुड़े अन्य प्रभारों (यथा विद्युत-शुल्क, टी.ओ.डी. सरचार्ज, पॉवर फैक्टर सरचार्ज) की घटी विद्युत दर से गणना।

प्रत्येक भुगतान पर बिल राशि के 0-5 प्रतिशत (न्यूनतम 5 रूपये) की छूट। घरेलू श्रेणी में छूट की कोई अधिकतम सीमा नहीं जबकि अन्य श्रेणियों में छूट की अधिकतम सीमा 20 रुपये।

मीटर में बैलेंस खत्म होने के बाद भी अगले 3 दिन तक बगैर विद्युत विच्छेदन के रिचार्ज की सुविधा।

विद्युत खपत एवं उपयोग में लाये जा रहे विद्युत-भार (लोड) की हर 15 मिनट में अद्यतन (रियल टाइम) जानकारी मोबाइल में उपलब्ध, जिससे विद्युत के किफायती उपयोग से बिजली बिल में कटौती की जा सकेगी।

विद्युत खपत तत्सम्बन्धी विद्युत् प्रभार एवं बैलेंस राशि की प्रतिदिन की जानकारी मोबाइल ऐप एवं पोर्टल में उपलब्ध।

प्रतिमाह मीटर रीडिंग में होने वाली मानवीय त्रुटि एवं विद्युत बिलों में सुधार हेतु बिजली- कार्यालय के बार-बार के चक्करों से छुटकारा।

विद्युत लाइनों, वितरण ट्रांसफार्मर या किसी उपभोक्ता की विद्युत् आपूर्ति बाधित होने पर विद्युत् व्यवधान का स्वतः संज्ञान एवं विद्युत् आपूर्ति की त्वरित बहाली।

भविष्य में सोलर रूफ टॉप कनेक्शन लेने पर नये मीटर-मॉडेम खरीदने की आवश्यकता नहीं।

मध्यप्रदेश में इंदौर, जबलपुर सहित 20 से अधिक जिलों में अब तक लगभग 10 लाख स्मार्ट मीटर सफलतापूर्वक लगाये जा चुके हैं।

स्मार्ट मीटर से जुड़ी समस्त जिज्ञासाओं का समाधान मध्यप्रदेश मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी की वेबसाईट portal.mpcz.in पर उपलब्ध है।