जंगल में महुआ बीनने बीनने गया था, घात लगाकर बाघ ने हमला किया, मौके पर मौत; ग्रामीणों ने जताया आक्रोश

ग्रामीणों ने मौके पर पहुंचे वनकर्मियों के सामने आक्रोश भी दर्ज कराया।

जिले के कुरई ब्लॉक के आगरी गांव में शुक्रवार सुबह जंगल में महुआ बीनने गए बुजुर्ग पर बाघ ने हमला कर दिया। उसकी मौके पर ही मौत हो गई। घटना के बाद आक्रोशित ग्रामीणों ने मौके पर पहुंची वन विभाग की टीम पर पथराव भी किया। बाद में मौके पर पहुंचे तहसीलदार और टीआई ने मामला शांत कराया।

गांव के पास स्थित एरमा के रहने वाले घासीराम वर्मा (65) का जंगल से लगा खेत है। सुबह करीब 6 बजे वह खेत पर गए थे। यहां से महुआ बीनने जाने वाले थे। इसी दौरान खेत के पास घात लगाए बैठे बाघ ने घासीराम पर पीछे से हमला बोल दिया। बाघ ने घासीराम की गर्दन पकड़ी और कुछ दूर घसीट ले गया। शोर मचाने पर दूसरे ग्रामीणों ने देख लिया। शोर मचाने पर बाघ घासीराम को छोड़कर जंगल में भाग गया। ग्रामीणों ने तुरंत परिजन को सूचना दी।

इसके बाद वन विभाग के अधिकारियों को सूचना दी गई। वनकर्मी जब मौके पर पहुंचे, तो ग्रामीणों का आक्रोश फूट पड़ा। ग्रामीणों का कहना था कि आए दिन बाघ हमला कर देता है। सुरक्षा की कोई व्यवस्था नहीं है। इस कारण ग्रामीणों ने वनकर्मियों द्वारा शव को हाथ भी नहीं लगाने दिया। यही नहीं, ग्रामीणों ने वनकर्मियों पर पत्थर भी फेंके। स्थिति संभालने मौके पर पुलिस भी पहुंच गई। ग्रामीण मौके पर अधिकारियों को बुलाने की मांग पर अड़े थे।

तहसीलदार ने शांत करवाया मामला

इसके बाद माैके पर तहसीलदार गौरीशंकर शर्मा और कुरई टीआई मनोज गुप्ता मौके पर पहुंचे। दोनों की समझाइश के बाद मामला शांत हुआ। प्रशासन ने पीड़ित परिवार को 10 हजार रुपए की आर्थिक सहायता दी। इसके अलावा 3 लाख 90 हजार रुपए और मुआवजा दिया जाएगा। पोस्टमॉर्टम के बाद शव परिजन को सौंप दिया गया। दोपहर में शव का अंतिम संस्कार भी कर दिया गया। घासीराम के एक बेटा और दो बेटियां हैं। तीनों की शादी हो चुकी है।

छह माह में 3-4 घटनाएं

जानकारी के अनुसार पिछले छह माह में तीन से चार घटना हो चुकी हैं। इनमें चार लोगों की मौत हुई है। तीन महीने पहले भी बाघ ने एक महिला का शिकार किया था।