गाजा । विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) का कहना है कि बार-बार इजरायली हमलों और आसपास के क्षेत्र में भारी लड़ाई के बीच उसका गाजा के सबसे बड़े अल-शिफा अस्पताल से संपर्क टूट गया है। रविवार रात को जारी एक बयान में डब्ल्यूएचओ ने कहा कि जैसा कि अस्पताल पर बार-बार हमलों की भयावह रिपोर्टें सामने आ रही हैं, हम मानते हैं कि हमारा संपर्क अस्पताल से टूट गया है। ऐसी ख़बरें हैं कि अस्पताल से भागे कुछ लोगों पर गोली चलाई गई, उन्हें घायल किया गया और यहां तक कि उनकी हत्या भी कर दी गई। फिलिस्तीनी स्वास्थ्य मंत्रालय के नवीनतम अपडेट के अनुसार सोमवार सुबह तक 600-650 रोगी, 200-500 स्वास्थ्य कार्यकर्ता और लगभग 1,500 विस्थापित लोग अभी भी अस्पताल के अंदर हैं। इसमें कहा गया है, बिजली, पानी और भोजन की कमी से इनकी जान जोखिम में है। अस्पताल से बाहर निकलने के लिए कोई सुरक्षित रास्ता नहीं है। डब्ल्यूएचओ के बयान में कहा गया है कि पिछले 48 घंटों में अस्पताल पर कई हमले हुए हैं, इसमें कई लोगों की मौत हो गई और कई अन्य घायल हो गए। बयान में कहा गया है कि बमबारी से गहन देखभाल इकाई को नुकसान हुआ है, जबकि अस्पताल के वे क्षेत्र जहां विस्थापित लोग शरण लिए हुए थे, वे भी क्षतिग्रस्त हो गए हैं। कथित तौर पर बिजली कट जाने से एक मरीज की मौत हो गई। संयुक्त राष्ट्र निकाय ने यह भी कहा कि अल-शिफा टैंकों से घिरा हुआ है और चिकित्सा कर्मचारियों ने साफ पानी की कमी और आईसीयू, वेंटिलेटर और इनक्यूबेटर सहित अन्य कार्यों के खतरे की सूचना दी, जो ईंधन की कमी के कारण जल्द ही बंद हो गए, इससे लोगों की जान जोखिम में पड़ गई। बिना बिजली, बिना पानी और बहुत खराब इंटरनेट के साथ तीन दिन हो गए हैं, इससे आवश्यक देखभाल प्रदान करने की हमारी क्षमता पर गंभीर प्रभाव पड़ा है। गाजा शहर में अल-कुद्स अस्पताल, जो इस क्षेत्र का दूसरा सबसे बड़ा अस्पताल है अब सेवा से बाहर हो गया है।
गाजा के अल-शिफा अस्पताल से डब्ल्यूएचओ का संपर्क टूटा
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