देवास : ओलंपिक पदक विजेता पहलवान सुशील कुमार ने अवार्ड लौटाने को गलत बताते हुए विरोध के इस तरीके को गलत ठहराया है.
देवास में 61वें राष्ट्रीय शालेय खेल के समापन समारोह में पहुंचे सुशील कुमार ने असहिष्णुता से जुड़े एक सवाल के जवाब में कहा कि इस तरह अवार्ड लौटाना ठीक नहीं हैं. किसी भी अवार्ड को बड़े सम्मान के साथ दिया जाता है.
उन्होंने कहा कि अवार्ड के पीछे कड़ी मेहनत छुपी होती है. यदि विरोध करना है तो इसे जाहिर करने के दूसरे तरीके भी है.
उन्होंने मध्य प्रदेश सरकार की तारीफ करते हुए कहा कि सरकार खेलों के प्रति गंभीर है. सरकार यहां खिलाड़ियों को कई सुविधाएं भी देती हैं.
एक अन्य सवाल के जवाब में ओलंपिक पदक विजेता पहलवान ने कुश्ती को एक तपस्या बताया है. साथ ही उन्होंने कहा कि हर माता-पिता से अपने बच्चों को खेल से जोड़ना चाहिए.
गोल्ड पाना है लक्ष्य
दो बार के ओलंपिक पदक विजेता और भारत के सितारा पहलवान सुशील कुमार गुरुवार को एक कार्यक्रम में हिस्सा लेने इन्दौर भी पहुंचे थे. इस दौरान सुशील कुमार ने कहा कि अगले साल होने वाले ओलंपिक में उनका लक्ष्य गोल्ड मेडल जीतना है.
इन्दौर स्पोर्ट्स राइटर्स एसोसिएशन द्वारा टेनिस क्लब में आयोजित अवार्ड फंक्शन के लिए पहलवान सुशील कुमार मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए.
अवार्ड फंक्शन में पांच अलग-अलग स्कूलों के बच्चों को टेनिस में उनकी बेहतरीन परफॉर्मेंस के लिए सम्मानित किया गया. ये अवार्ड 19 साल से कम उम्र के खिलाड़ियों को दिया गया. जिसमें उन्हें प्रोत्साहित करने के लिए 5-5 हजार रुपए, सम्मान पत्र, खेल सामग्री और अन्य उपहार दिए गए.
खिलाड़ियों को सुशील कुमार के हाथों के जरिए सम्मानित किया गया. जिन्होंने इन युवा खिलाड़ियों को ट्रॉफी के साथ दुआएं भी दीं.
अवार्ड लौटाने वालों को सुशील कुमार बोले- मेहनत से मिलता है सम्मान
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