मुजफ्फरनगर. मुजफ्फरनगर (Muzaffarnagar) में केंद्र सरकार के कृषि कानूनों के खिलाफ किसनों ने बड़ी महापंचायत (Mahapanchayat) की. इस दौरान किसान नेताओं ने केंद्र सरकार पर जमकर हमला बोला. नौ महीने बाद मुजफ्फरनगर किसान नेता राकेश टिकैत (Rakesh Tikait) ने कहा कि तीनों कानूनों के खिलाफ आंदोलन तब तक जारी रहेगा जब तक कि केंद्र सरकार उनकी मांगों को पूरा नहीं करती. राकेश टिकैत ने रविवार को कहा कि सरकार कुछ भी कर ले किसान दिल्ली की सीमाओं को नहीं छोड़ेंगे.
संयुक्त किसान मोर्चा की ओर से आयोजित किसान महापंचायत में टिकैत ने कहा, ‘हम संकल्प लेते हैं कि हम धरना स्थल को वहां (दिल्ली की सीमाओं पर) नहीं छोड़ेंगे, भले ही हमारा कब्रिस्तान वहां बन जाए. जरूरत पड़ी तो हम अपनी जान भी दे देंगे, लेकिन जब तक हम जीत नहीं जाते, तब तक धरना स्थल नहीं छोड़ेंगे. जब भारत सरकार हमें बातचीत के लिए आमंत्रित करेगी, हम जाएंगे, लेकिन किसानों का आंदोलन जारी रहेगा. राकेश टिकैत ने कहा कि आजादी के लिए संघर्ष 90 वर्षों तक जारी रहा. अब लगता है कि यह आंदोलन भी लंबे समय तक जारी रहेगा.
मुजफ्फरनगर के राजकीय इंटर कॉलेज के मैदान में आयोजित किसान महापंचायत को संबोधित करते हुए राकेश टिकैत ने कहा, आज संयुक्त किसान मोर्चा ने जो फैसले लिए हैं उसके तहत हमें पूरे देश में बड़ी-बड़ी सभाएं करनी पड़ेंगी. अब यह मिशन केवल उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड का मिशन नहीं, अब यह मिशन संयुक्त मोर्चे का देश बचाने का मिशन होगा. यह देश बचेगा तो यह संविधान बचेगा.
इस बीच, उत्तर प्रदेश अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (कानून व्यवस्था) प्रशांत कुमार ने बताया कि महापंचायत के मद्देनजर पीएससी की 25 कंपनियों और मेरठ अंचल के 20 अधिकारियों को तैनात किया गया है. एडीजी कुमार ने कहा कि हमने यातायात के सुचारू संचालन के लिए यातायात अलर्ट जारी किया है. हम स्थिति की लगातार निगरानी कर रहे हैं.