नई दिल्ली. पंजाब कांग्रेस में सियासी घमासान (Punjab Congress Rift) लगातार जारी है. नवजोत सिंह सिद्धू (Navjot Singh Sidhu) को पंजाब कांग्रेस की कमान दिए जाने की खबरों के बीच सिद्धू के विरोधी लगातार एकजुट हो रहे हैं. खबर है कि पंजाब के कांग्रेस सांसद आज दिल्ली में बैठक करेंगे. ये सारे नेता पंजाब के कांग्रेस सांसद प्रताप सिंह बाजवा के घर पर मिलेंगे. कहा जा रहा है कि ये सब बैठक के बाद सोनिया गांधी से मिलने का वक्त भी मांगेंगे और मांग करेंगे कि सिद्धू को पंजाब कांग्रेस का अध्यक्ष नहीं बनाया जाए. बता दें कि पहले इस बैठक में किसानों के मुद्दे पर चर्चा होनी थी, लेकिन अब ये तय किया गया है कि सिद्धू के मामले पर भी विस्तार से चर्चा होगी.इससे पहले नवजोत सिंह सिद्धू ने शुक्रवार को कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी से मुलाकात की थी. इस बैठक के बाद से ही कैप्टन अमरिंदर सिंह के खेमे में खलबली मच गई है. कैप्टन सिद्धू के खिलाफ कांग्रेस के नेताओं का एक खेमा तैयार कर रहे हैं. वो हर हाल में सिद्धू को प्रदेश अध्यक्ष बनने से रोकने की कोशिश में लगे हैं. लिहाज़ा उन्होंने अपने पुराने विरोधी प्रताप सिंह बाजवा से भी मुलाकात की है. बता दें कि बाजवा ही पहले पंजाब प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रमुख थे. बाद में उन्हें हटा कर सुनील जाखड़ को पंजाब की कमान दी गई.


सिद्धू को झटका!
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि बाजवा और कैप्टन अमरिंदर सिंह के हाथ मिलाने से नवजोत सिंह सिद्धू का खेल खत्म हो सकता है. दरअसल बाजवा लंबे समय से राज्य के अन्य असंतुष्ट नेताओं के साथ मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह को हटाने की मांग कर रहे थे. ऐसे में सिद्धू को भी कैप्टन के खिलाफ मोर्चा खोलने में मदद मिली, लेकिन अब इस नए समीकरण के बाद पंजाब फिर से बाज़ी पलट सकती है. करीब दो हफ्ते पहले भी बाजवा और अमरिंदर की मुलाकातों की खबरें आईं थी. उस वक्त कैप्टन ने बाजवा के साथ बैठक की खबरों का खंडन किया था. लेकिन अब इन दोनों की मुलाकातों की तस्वीरें भी हर किसी के सामने है.

अमरिंदर-बाजवा की मुलाकत से नए संकेत
इस बीच कांग्रेस नेता मनीष तिवारी ने अमरिंदर सिंह और बाजवा के बीच बढ़ रही नजदीकियों को सराहा है. शनिवार को पंजाब के विधानसभा के स्‍पीकर राणा केपी सिंह, राज्‍यसभा सांसद व पूर्वी पीपीसीसी प्रमुख प्रताप सिंह बाजवा और कैबिनेट मंत्री राणा गुरमीत सोढ़ी ने मुख्‍यमंत्री अमरिंदर सिंह से उनके आवास पर मुलाकात की थी. अमरिंदर सिंह ने शनिवार को कहा है कि कांग्रेस की अंतरिम अध्‍यक्ष सोनिया गांधी का जो भी फैसला होगा, वो उन्‍हें स्‍वीकार होगा. हालांकि शुक्रवार को कैप्टन की सोनिया गांधी की चिट्ठी ने खलबली मचा दी है. उन्होंने साफ-साफ कहा है कि सिद्धू के कामकाज के तरीके से पार्टी को भारी नुकसान हो सकता है.